(07/09/2016) 
अरविंद केजरीवाल के सहयोगियों के जेल जाने व धोखाधड़ी में लिप्त होने से दुखी हैं अन्ना हजारे
भ्रष्टाचार के खिलाफ जंग और आजादी की तीसरी लड़ाई बताए जा रहे अन्ना के लोकपाल आंदोलन के सहारे राजनीतिक जमीन तैयार करने वाले अरविंद केजरीवाल और उनके नजदीकी सहयोगियों को लेकर पहले भी रालेगण सिद्धी से नाराजगी भरे स्वर उठते रहे हैं। इसी कड़ी में फिर से समाजसेवी अन्ना हजारे ने आम आदमी पार्टी (AAP) के संयोजक अरविंद केजरीवाल पर नाराजगी जताई है।

अन्ना ने कहा कि वह यह देखकर बहुत दुखी हैं कि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के कुछ सहयोगी जेल जा रहे हैं जबकि कुछ अन्य धोखाधड़ी में लिप्त हैं।
अन्ना ने कहा मुझे बहुत पीड़ा पहुंची है...अरविन्द जब मेरे साथ थे तो उन्होंने ग्राम स्वराज पर एक पुस्तक लिखी थी...क्या हम इसे ग्राम स्वराज कहेंगे? इस कारण मैं बहुत दुखी हूं। मैं जिस आशा के साथ उन्हें (केजरीवाल को) देख रहा था, वह समाप्त हो गयी। उन्होंने कहा, पार्टी बनाते वक्त उन्हें कहा गया था कि ईमानदारी और साफ छवि वाले लोगों को ही लें, लेकिन पार्टी में दागदार छवि वाले लोग आ गए।
उनका यह बयान आप विधायक संदीप कुमार की गिरफ्तारी के बाद आया है जिनपर एक महिला ने बलात्कार का आरोप लगाया है। भ्रष्टाचार के खिलाफ जंग और आजादी की तीसरी लड़ाई बताए जा रहे अन्ना के लोकपाल आंदोलन के सहारे राजनीतिक जमीन तैयार करने वाले अरविंद केजरीवाल और उनके नजदीकी सहयोगियों को लेकर पहले भी रालेगण सिद्धी से नाराजगी भरे स्वर उठते रहे हैं।
भ्रष्टाचार के खिलाफ आंदोलन में अन्ना के साथ अरविंद केजरीवाल, किरण बेदी, योगेंद्र यादव, कुमार विश्वास, जनरल वी के सिंह, मनीष सिसोदिया, प्रशांत भूषण के अलावा ढेर सारे लोग सक्रिय थे। आंदोलन के बाद राजनीतिक पार्टी बनाने और चुनाव लड़ने को लेकर भी अन्ना ने सार्वजनिक तौर पर अपने मतभेद दर्ज कराए थे।
इसके बावजूद अरविंद केजरीवाल ने आम आदमी पार्टी बनाई और चुनाव लड़े। इसके बाद कांग्रेस के साथ मिलकर दिल्ली में सरकार बनाई। अन्ना ने दोनों ही बार खुद को इससे दूर बताया। केजरीवाल ने अन्ना के पास जाकर उन्हें मनाने की कोशिश भी की लेकिन अन्ना की किसी बात पर अमल नहीं किया।
देवेंद्र कुमार समाचार वार्ता
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