राष्ट्रीय (02/11/2014) 
राष्ट्रवादी शिवसेना ने दिल्ली के सभी वार्डों में गौशाला व पूजन सामाग्री विसर्जन केन्द्र स्थापित करने की मांग
नई दिल्ली 02 नवंबर। देश की राजधानी दिल्ली में गौवंश की दयनीय हालत और हिन्दू घरों में निकलने वाले प्रवाहित करने योग्य पूजन सामाग्री, फूल व धार्मिक मूर्तियों व चित्रों को विसर्जित करने की समस्या पर गंभीर चिंता जताई है। संगठन ने इस संदर्भ में दिल्ली के उपराज्यपाल को एक पत्र लिखकर दिल्ली के सभी 272 निगम वार्डों में गऊशाला व पूजन सामाग्री विसर्जन केन्द्र स्थापित किए जाने की मांग की है। 
उपराज्यपाल को लिखे पत्र में संगठन अध्यक्ष श्री जयभगवान गोयल ने कहा कि दिल्ली में आवारा घूमते गौवंशों की हालत हिन्दू समाज के लिए अत्यधिक पीड़ा का कारण बनता जा रहा है। उन्होने कहा कि एक तरफ तो जगह-जगह आवारा घूमते गौवंशों को प्लास्टिक की थैलियां खाने के कारण जानलेवा बीमारियां हो रही हैं वहीं दूसरी ओर हिन्दुओं को गौ-ग्रास खिलाने के लिए प्रतिदिन कई-कई किलोमीटर की परिक्रमा के बावजूद भी गौमाता को न मिल पाने की स्थिति में बड़ी हताशा का सामना करना पड़ रहा है। 
श्री गोयल ने कहा कि हिन्दुओं के घरों में प्रतिदिन पूजन पाठ होता है जिस पर फूल माला, विसर्जन योग्य हवन सामाग्री तो प्रतिदिन ही निकलती है, उनके घरों में देवी-देवताओं के फटे पुराने चित्र व खण्डित मूर्तियां भी कभी-कभी निकलती हैं जो हिन्दू मान्यताओं के अनुसार जल में विसर्जित की जाती हैं या फिर ऐसे स्थान पर रखीं जातीं हैं जहां परों के नीचे वह न आएं मगर दुर्भाग्य से हिन्दू बाहुल्य राष्ट्र होने के बावजूद आज तक किसी भी सरकार ने हिन्दुओं की इस धार्मिक समस्या के समाधान हेतु कोई कदम नहीं उठाया। 
श्री गोयल ने कहा कि देश के प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने देश में स्वच्छता अभियान की जो लौ प्रज्वलित की है उसमें आज देश का प्रत्येक नागरिक शामिल होकर इसकी पूर्ति में लगा हुआ है ऐसे में दिल्ली का हिन्दू समाज चाहता है कि राजधानी के सभी 272 निगम वार्डों में सरकारी सहायता से ऐसे केन्द्र स्थापित किए जाएं जिसमें कम से कम पांच गांयों के रहने व पूजन सामाग्री केन्द्र बनाएं जाएं जहां से जल में प्रवाहित करने योग्य सामाग्री को चुनकर अलग किया जा सके और अन्य सामाग्री को वहीं जलाया जा सके। जैसा कि सिख समाज द्वारा मजनू के टीला स्थित गुरूद्वारे में ऐसी व्यवस्था की गयी है। उन्होंने कहा कि इन केन्द्रों के स्थापित होने से हिन्दू समाज की आस्था से जुड़ी इस समस्या का समाधान तो होगा ही सफाई आंदोलन को भी सफलता मिल सकेगी। 
उपराज्यपाल से मांग करते हुए श्री गोयल ने कहा कि उपरोक्त कार्य के लिए सरकार सभी 272 निगम वार्डों में कम से कम एक-एक हजार गज जगह आरक्षित कर केन्द्र स्थापित करे जहां गौशाला व विसर्जन केन्द्र का निर्णय करवाया जा सके।
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