(23/04/2015) 
गजेन्द्र का आज अंतिम संस्कार, परिजनों ने लगाये उकसाने के आरोप में
बुधवार को आम आदमी पार्टी की जंतर मंतर पर हुई किसान रैली में खुदकुशी करने वाले किसान के परिजनों ने मौत के लिए आम आदमी पार्टी और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को जिम्मेदार ठहराते हुए आरोप लगाया कि उसे खुदकुशी के लिए उकसाया गया होगा। परिजनों के मुताबिक, गजेंद्र की मनीष सिसोदिया से बात हुई थी। सिसोदिया के कहने पर ही वे दिल्ली गए थे। गजेंद्र के रिश्तेदारों ने कहा कि वे खुदकशी करने नहीं गए थे, उसे जरूर उकसाया गया होगा। गजेंद्र का अंतिम संस्कार गुरुवार को होना है।

गजेंद्र के चचेरे भाई राजेंद्र सिंह ने कहा कि बिजली के खंभे पर चढ़कर बिजली के तार काटे जा सकते हैं, लेकिन पेड़ पर चढ़कर उसे बचाया नहीं जा सकता था। जब भाषण दिए जाते हैं, तो प्रोवोकेशन होता है। इस प्रोवोकेशन के लिए उनके ऊपर केस दर्ज होना चाहिए। अगर किसी बड़े नेता के घर का कोई मरता, तो क्या रैली वैसे ही चल रही होती? वहां बैठकर प्रोवेकेशन हुआ है, तब उसने जान दी है।

देर रात गजेंद्र सिंह का शव राजस्थान के दौसा स्थित उनके गांव नांगल झामरवाड़ा पहुंच गया। हालांकि दिल्ली से उनके गांव के लिए रवाना हुई एंबुलेंस देर तक गांव के बाहर ही रुकी हुई थी। सुबह उनका शव गांव लाया गया। लोगों को उनकी दो भतीजी की शादी के बाद विदाई का इंतजार था। गजेंद्र का शव पहुंचते ही गांव में मातम पसर गया।

गजेंद्र की मौत के बाद उसके परिजन गहरे सदमे में हैं। जब उसकी खुदकुशी की बात गजेंद्र के पिता को बताई गई, तो वे बेहोश होकर गिर पड़े। गौरतलब है कि बुधवार को दिल्ली के जंतर-मंतर पर गजेंद्र सिंह ने आम आदमी पार्टी की रैली के दौरान खुदकुशी कर ली थी। उनकी मौत के बाद तक रैली चलती रही, आप के नेता भाषण देते रहे।
वहीं आम आदमी पार्टी के नेता कहीं न कहीं इस घटना के लिए पुलिस की लापरवाही को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं। चूंकि जंतर मंतर पर जब भी आम आदमी पार्टी की कोई रैली या धरना प्रदर्शन होता है और खासतौर पर अगर केजरीवाल वहां जा रहे हों, तो पुलिस काफी मुस्तैद रहती है और सुरक्षा के लिए खासे इंतजाम किए जाते हैं। ऐसे में यह सवाल उठना भी लाजमी है कि उस वक्त पुलिस क्या कर रही थी? मौके पर दमकल की गाड़ी का न होना भी कई सवाल खड़े करता है।
Copyright @ 2019.