विशेष (12/10/2022) 
पंजाब के गन्ना किसानों के लिए बुरी खबर, प्राइवेट शूगर मिलों ने खड़े किए हाथ
जालंधर : पंजाब के गन्ना किसानों के लिए एक बुरी खबर है। राज्य की प्राइवेट शूगर मिलों ने वर्तमान सरकार नीति के चलते गन्ना बांड और पिराई का काम छोड़ दिया है। प्राईवेट शूगर मिल एसोसिएशन पंजाब ने बकायदा विज्ञापन जारी करके किसानों को इसकी जानकारी दी है।  शूगर मिल मालिकों ने स्पष्ट किया है कि पंजाब सरकार द्वारा गन्ने की कीमत 380 रुपए प्रति क्विंटल तय किए जाने के कारण शूगर मिल गन्ना की पिराई नहीं कर पा रही हैं। 
प्राइवेट शूगर मिल किसानों को अगले साल के खरीद मूल्य 325 रुपये प्रति क्विंटल के हिसाब से भी भुगतान नहीं कर पा रही हैं और कई मिलों के किसानों का बकाया अभी भी खड़ा है लेकिन  380 रुपये प्रति क्विंटल के मूल्य अनुसार मिलों के लिए किसानों की अदायगी बिल्कुल भी संभव नहीं होगी। इसके साथ ही मिल मालिकों ने साफ किया है कि गन्ने का मूल्य 380 रुपए प्रति क्विंटल देने के लिए गन्ने के राज्य सरकार द्वारा ऐलान किए गए खरीद मूल्य और भारत सरकार द्वारा गन्ने के निश्चित किए खरीद मूल्य (एफ.आर.पी.) जोकि 305 रुपए है, का अंतर पंजाब सरकार को देना चाहिए। निजी मिलों ने कहा है कि वे 325 रुपये प्रति क्विंटल की पिछली कीमत देने में असमर्थ थे, लेकिन अब पंजाब सरकार ने मूल्य बढ़ाकर 380 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया है, जिसके कारण वे अब गन्ने की बांड और पिराई नहीं कर पा रहे हैं।

पंजाब से अश्वनी ठाकुर की रिपोर्ट

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